फुरकान अंसारी की बेटी शबाना ने ठोकी ताल, लड़ेगी गोड्डा से चुनाव, JVM के प्रदीप यादव की बढ़ी मुश्किलें

गोड्डा में महागठबंधन के अंदर सब कुछ ठीक-ठाक नहीं चल रहा। कांग्रेस के वरिष्ठ नेता एवं गोड्डा से पूर्व सांसद फुरकान अंसारी के परिवार में इस बात को लेकर गुस्सा है कि आखिर जिस गोड्डा सीट पर फुरकान अंसारी की जीत सुनिश्चित थी, जो सीट पहले से ही कांग्रेस का रहा है, वह सीट झारखण्ड विकास मोर्चा को क्यों दे दिया गया? हालांकि फुरकान अंसारी अपने बच्चों को मनाने का बहुत प्रयास किये, पर वे अपने प्रयास में सफल होते नहीं दीख रहे।

इधर फुरकान अंसारी की बेटी शबाना खातून उर्फ पिंकी गोड्डा से तृणमूल कांग्रेस की टिकट पर चुनाव लड़ेंगी, इसकी घोषणा वह कर चुकी है। शबाना खातून के अनुसार गोड्डा सीट पर उनके पिता फुरकान अंसारी का चुनाव नहीं लड़ना, उन्हें अंदर से विचलित कर दिया हैं, वह अपने पिता के साथ हुए अन्याय को बर्दाश्त नहीं कर सकती। शबाना के शब्दों में हालांकि उनके पिता फुरकान अंसारी उन्हें समर्थन नहीं कर रहे, फिर भी वो गोड्डा से चुनाव लड़ेंगी और जीत हासिल करेंगी, क्योंकि उनके साथ अल्पसंख्यकों की एक बहुत बड़ी जमात तथा सेक्यूलर वोटों का समूह साथ है। वो गोड्डा सीट से जीत हासिल करेंगी और अपने पिता फुरकान अंसारी के सपनों को पूरा करेगी।

इधर फुरकान अंसारी का कहना है कि उन्होंने अपनी बेटी को खूब मनाने की कोशिश की, पर वे लाचार है, उन्होंने कहा कि वे अपनी बेटी का समर्थन नहीं करेंगे और जल्द ही कांग्रेस के चुनाव प्रचार के लिए बिहार के सीमांचल क्षेत्रों का दौरा करेंगे, नहीं तो लोग यहीं कहेंगे कि फुरकान अंसारी ने अपनी बेटी को जीताने के लिए एड़ी चोटी लगा दी और कांग्रेस के साथ गलत किया।

फुरकान अंसारी की बेटी शबाना उर्फ पिंकी के अनुसार ये तो सरासर अन्याय है, वह इस अन्याय को बर्दाश्त कर सकने की स्थिति में नहीं है, कमाल है जो दूसरे स्थान पर रहा, उसे लड़ने नहीं दिया गया और जो तीसरे स्थान पर रहा, उसे जीताने के लिए कांग्रेस ने अपना पसीना बहाने का काम कर दिया। वह कहती है कि आप देख लीजियेगा, यहां से जेवीएम कभी जीत नहीं पायेगा, क्योंकि उनके पास वो तबका मौजूद नहीं हैं, जो जीताने की ताकत रखता है, जबकि हमें एक बहुत बड़ी आबादी समर्थन दे रही है, निःसंदेह परिणाम अद्भुत आयेगा, लोग देखेंगे।

इधर शबाना यह भी कहती है कि उन्हें राजनीति विरासत में मिली है, उन्हें इस पर ज्यादा कुछ करने की जरुरत नहीं, उनके पति इकबाल आलम अंसारी भारतीय प्रशासनिक सेवा से जुड़े हैं, बेटा फैसल इकबाल अंसारी आइआइटी रुड़की का टॉपर रहा है, वहीं बेटी अनाम इकबाल सुप्रीम कोर्ट में अधिवक्ता है। यानी कुल मिलाकर देखें तो झारखण्ड विकास मोर्चा के प्रदीप यादव के लिए शबाना उर्फ पिंकी का चुनाव लड़ना, खतरे की घंटी है, अगर शबाना ने मन बनाकर अच्छी तरह चुनाव लड़ गई और अल्पसंख्यकों ने शबाना पर भरोसा जता दिया तो परिणाम निःसंदेह गोड्डा में चौकानेवाले होंगे, यानी ले-देकर महागठबंधन के लिए गोड्डा सीट समझ लीजिये, काल बनकर आ गया।