परमहंस योगानन्द जी के जन्मदिवस पर विशेषः पूरब और पश्चिम को क्रियायोग की डोर से बांधनेवाले एकमात्र ऋषि
जब-जब पूरब और पश्चिम को आध्यात्मिकता की डोर से बांधने की बात होगी, तब-तब हमारे प्रेमावतार श्री श्री परमहंस योगानन्द
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Read moreयोगदा सत्संग सोसाइटी ऑफ इंडिया (वाईएसएस) का 104 वां स्थापना दिवस 22 मार्च को है। इसी दिन परमहंस योगानन्द (1893 — 1952) ने 1917 में भारत में कई सहस्राब्दियों पूर्व अद्भुत हुए पवित्र आध्यात्मिक विज्ञान, क्रियायोग की सार्वभौमिक शिक्षा को उपलब्ध कराने के लिए योगदा सत्संग सोसाइटी की स्थापना की थी। इन धर्म-निरपेक्ष शिक्षाओं में, सर्वांगीण सफलता और समृद्धि के साथ-साथ, जीवन के अंतिम लक्ष्य – आत्मा का परमात्मा से मिलन – के लिए ध्यान की विधियों का एक पूर्ण दर्शन और जीवन शैली का ज्ञान सम्मिलित है।
Read moreजिस तरह पश्चिम में “फादर्स डे” और “मदर्स डे” मनाने का रिवाज है (अब तो यह भारत में भी प्रचलन में आ रहा है)। उसी तरह भारत में “गुरुज डे” मनाने की बहुत प्राचीन प्रथा है, लेकिन इसे हम “गुरु पूर्णिमा” के नाम से मनाते हैं, जो हर वर्ष “आषाढ़ पूर्णिमा” के दिन आता है। यह पर्व गुरु को समर्पित होता है और इस दिन पूरे भारत में शिष्य अपने गुरु की पूजा करते है और उनके द्वारा दिखाये गये मार्ग पर निष्ठा के साथ चलते रहने का पुनः संकल्प लेते हैं।
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